मुख्य रोग जो पेट की गडबडी से होती है
@ बवासीर
@ यूरिक एसिड का बढ़ना
@ मधुमेह (शुगर) का बढ़ना
@ बैड कोलेस्ट्राल का बढना
@ ट्राईगिल्सराइड का बढ़ना
@ टोंसिल मुंह के छाले का होना
@ कब्ज होना
@ एसिडिटी होना
आदि
उपर्युक्त सभी मुख्य रोगों के होने का कारण पेट की गडबडी से जुडा है। जब हम खाना खाते है तो पेट में खाना जाते ही पेट में अपने आप जठराग्नि जलने लगती है। ये ही खाना पचाने का कार्य करती है। इस खाना को पचने में 90 मिनट का समय लगता है। अब यदि हम खाना खाने के तुरंत बाद पानी पी ले गे तो जो अग्नि पेट में जल रही है खाने को पचाने के लिए वो आग बुझ जाएगी। अग्नि बुझेगी तो खाना नही पचेगा और खाना नही पचा तो खाना पेट में सडेगा और खाना सड़ेगा तो पेट में गैस बनेगी। और क्या होगा जो पोषकतत्व शरीर में मिलने वाले थे वो नही मिलेगे। फिर शुरू होगा बीमारियों का अम्बार
जैसे:
कब्ज
एसिडिटी
शुगर
बेड कोलेस्ट्रोल
यूरिक एसिड
बवासीर
103 प्रकार के रोग
तो इनसे बचने के लिए हम क्याय कर सकते हैं ?
प्रात:काल भरपेट भोजन करना चाहिए। आजकल ये स्वास्थ्य के विपरीत प्रचारित
किया जा रहा है की प्रात:काल हल्का भोजन करना चाहिए। कभी न करे प्रात:काल
का भोजन भरपेट और भारी ही लेना चाहिए। आयुर्वेद के अनुसार जब आप ने
प्रात:काल भोजन किया फिर पानी पीने का मन किया तो क्या करे ?
तो याद रखे प्रात:काल भोजन के बाद यदि कुछ पीना ही है। तो किसी भी फल का रस पिए या कोई भी फल खा ले फिर 90 मिनट बाद ही पानी पिए वो भी घूट घूट कर।
अब बात करते है दोपहर के भोजन की दोपहर के प्रात:काल के भोजन से हल्का करे और जब पानी पीने का मन करे तो दही या मट्टा छाछ पिए। फिर 90 मिनट बाद पानी पिए। रात्रि का भोजन और हल्का करे। और भोजन के बाद यदि कुछ पीना ही है तो देशी गाय का दूध पिए। (भैस और जर्सी का दूध न कभी पिए)
विशेष -- भोजन में कम मिर्च डाले ताकि न मिर्ची लगे न पानी पीने की जरुरत पड़े।
ये तो हो गई खाने के बाद पानी न पीने की बात।
अब मुख्य बात कब्ज की
जब ये नियम पालन कर ले गे तो
@ कभी कब्ज नही होगा
@ एसिडिटी नही होगी
@ कोलेस्ट्राल नही बढे ग
@ सुगर नही होगा
@ यूरिक एसिड नही बढेगा
कुल मिला कर पेट की कोई भी समस्या नही होगी। एक बात और प्रात:काल उठ के 3- 4 गिलास पानी बैठ कर घूट घूट कर पिया करें और 10 मिनट पैदल चले। पेट 2 मिनट में साफ़ हो जाएगा बिना किसी दवा के।
आप सभी से हाथ जोड़ कर निवेदन है बिना किसी बहाने के खाना खाने के बाद पानी पीना बंद कर दे आप स्वयं परिवर्तन का अनुभव करेगें।
अन्त में पुन: इसे न भूलें ।
फलों का रस - प्रात:काल के खाने के बाद
दही छाछ- दोपहर में खाने के बाद
दूध पिए - रात्रि में खाने के बाद ही पिए
उल्टा न करे रात्रि में फलों का रस और दही, लस्सी का सेवन कभी न करें इससे बहुत से रोग उत्पन्न होते हैं और आयु कम होती है।
तो याद रखे प्रात:काल भोजन के बाद यदि कुछ पीना ही है। तो किसी भी फल का रस पिए या कोई भी फल खा ले फिर 90 मिनट बाद ही पानी पिए वो भी घूट घूट कर।
अब बात करते है दोपहर के भोजन की दोपहर के प्रात:काल के भोजन से हल्का करे और जब पानी पीने का मन करे तो दही या मट्टा छाछ पिए। फिर 90 मिनट बाद पानी पिए। रात्रि का भोजन और हल्का करे। और भोजन के बाद यदि कुछ पीना ही है तो देशी गाय का दूध पिए। (भैस और जर्सी का दूध न कभी पिए)
विशेष -- भोजन में कम मिर्च डाले ताकि न मिर्ची लगे न पानी पीने की जरुरत पड़े।
ये तो हो गई खाने के बाद पानी न पीने की बात।
अब मुख्य बात कब्ज की
जब ये नियम पालन कर ले गे तो
@ कभी कब्ज नही होगा
@ एसिडिटी नही होगी
@ कोलेस्ट्राल नही बढे ग
@ सुगर नही होगा
@ यूरिक एसिड नही बढेगा
कुल मिला कर पेट की कोई भी समस्या नही होगी। एक बात और प्रात:काल उठ के 3- 4 गिलास पानी बैठ कर घूट घूट कर पिया करें और 10 मिनट पैदल चले। पेट 2 मिनट में साफ़ हो जाएगा बिना किसी दवा के।
आप सभी से हाथ जोड़ कर निवेदन है बिना किसी बहाने के खाना खाने के बाद पानी पीना बंद कर दे आप स्वयं परिवर्तन का अनुभव करेगें।
अन्त में पुन: इसे न भूलें ।
फलों का रस - प्रात:काल के खाने के बाद
दही छाछ- दोपहर में खाने के बाद
दूध पिए - रात्रि में खाने के बाद ही पिए
उल्टा न करे रात्रि में फलों का रस और दही, लस्सी का सेवन कभी न करें इससे बहुत से रोग उत्पन्न होते हैं और आयु कम होती है।